हिंदू संत पर बांग्लादेश के राष्ट्रीय ध्वज का अपमान करने का आरोप है।
बांग्लादेश के जेल में बंद हिंदू संत चिन्मय कृष्ण दास की जमानत पर गुरुवार को सुनवाई हुई। उनकी जमानत पर चटगांव मेट्रोपॉलिटन सत्र न्यायाधीश की अदालत में सुनवाई की गई और उनकी याचिका को कोर्ट ने खारिज कर दिया।
दोनों पक्षों की दलीलें सुनने के लगभग 30 मिनट बाद चटगाँव मेट्रोपॉलिटन सेशन जज मोहम्मद सैफुल इस्लाम ने जमानत याचिका खारिज कर दी।
चिन्मय दास की जमानत पर सुनवाई कोर्ट ने खारिज की। चिन्मय दास पर बांग्लादेश के राष्ट्रीय ध्वज का अपमान करने का आरोप है, जिसके कारण उन पर राजद्रोह का मामला दर्ज किया गया है।
चटगाँव की एक अदालत ने आज कड़ी सुरक्षा के बीच हुई सुनवाई के बाद पूर्व इस्कॉन नेता चिन्मय कृष्ण दास को जमानत देने से इनकार कर दिया। इसकी जानकारी द डेली स्टार ने रिपोर्ट में दी है।
चिन्मय कृष्ण दास को 10 अक्टूबर को गिरफ्तार किया गया था, जब उन्होंने एक सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म पर एक वीडियो साझा किया था, जिसमें उन्होंने बांग्लादेश के राष्ट्रीय ध्वज का अपमान करने का आरोप लगाया था।
चिन्मय कृष्ण दास की गिरफ्तारी के बाद से ही विवाद चल रहा है। उनके समर्थकों ने उनकी गिरफ्तारी का विरोध किया है और उनकी रिहाई की मांग की है।